कोरबा (वायरलेस न्यूज़) :- एक और कलेक्टर श्रीमती रानू साहू ने निर्माण कार्यों में वैघ रेत मिट्टी मुरूम का उपयोग करने और बिना रॉयल्टी पर्ची के निर्माण सामग्री रेत मुरूम गिट्टी के उपयोग पर प्रतिबंध लगाते हुए अधिकारियों को कड़ाई से पालन करवाने दिशा निर्देश दिए हैं ।

लेकिन जिले में लगता है इन नियमों का पालन नहीं किया जा रहा है गेवरा से पेंड्रा निर्माणाधीन रेलवे लाइन में अवैध मिट्टी का उपयोग भारी मात्रा में किया जा रहा है हद तो तब हो गई जब ठेकेदार द्वारा लापरवाही पूर्वक कई हाईटेंशन टावर के नीचे से मिट्टी निकाली गई जिसके कारण वर्षा ऋतु में जलभराव होने पर टावर पर खतरा तो मंडरा ही रहा है दुर्घटना की भी आशंका बनी हुई है, कई टावरों से महज 1 से 2 मीटर की दूरी से मिट्टी निकाली गई वही नियम विपरीत ओवर वर्डन से 1 मीटर गहराई की जगह 5 मीटर गहराई तक मिट्टी निकाली गई जबकि नियम में 1 मीटर गहराई तक मिट्टी निकाली जा सकती है वही बिना रायल्टी पर्ची के अवैध मिट्टी का परिवहन किया जा रहा है जिससे राजस्व का भी नुकसान हो रहा है । जबकि छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री सभी कलेक्टरों और पुलिस अधीक्षकों को अवैध उत्खनन और अवैध परिवहन पर रोक लगाने कड़ाई से पालन करवाने के निर्देश दिए हैं जिसके बाद कलेक्टर ने भी जिले में किसी भी स्थिति में रेती मुरूम मिट्टी का अवैध उत्खनन व परिवहन नहीं होने के कड़ाई से पालन करवाने के निर्देश दिए हैं लेकिन धरातल में मुख्यमंत्री और कलेक्टर के निर्देशों को दरकिनार किया जा रहा है ।

आपको बता दें कि गेवरा से पेंड्रा तक रेल कॉरिडोर का निर्माण किया जाना है जिस मार्ग पर राजस्व एवं वन विभाग की जमीने पडती हैं जहां कुछ निजी जमीनों से तो कुछ सरकारी जमीनों से भारी तादाद में मिट्टी का वैध अवैध मिट्टी मुरूम का उत्खनन एवं परिवहन बिना रायल्टी पर्ची के किया जा रहा है ।

इस निर्माण कार्य में जहां अवैध मुरूम मिट्टी का उपयोग किया जा रहा है वही अवैध मिट्टी उत्खनन कर कई हरे-भरे पेड़ों को नुकसान पहुंचाया जा रहा है जिससे पर्यावरण को भी नुकसान पहुंच रहा है , जब इस विषय में खनिज अधिकारी शिव शंकर नाग से पूछा गया तो उन्होंने कहा परमिशन के लिए आवेदन आए हुए हैं जिसमें परमिशन दिया जा रहा है लेकिन टावर के पास से मिट्टी का उत्खनन करना गलत है और ओवर वर्डन से 1 मीटर की गहराई तक मिट्टी निकालने की परमिशन है उससे ज्यादा अगर मिट्टी निकाली जाती है तो गैर कानूनी है टीम भेजकर मौके का निरीक्षण करवाया जाएगा । वही पोड़ी उपरोड़ा एसडीएम कौशल प्रसाद तेंदुलकर ने कहा अवैध उत्खनन की ग्रामीणों द्वारा अभी कोई शिकायत नहीं मिली है फिर भी जांच करवाया जाएगा और हाईटेंशन टावर के नीचे से निकाली गई मिट्टी की भी जांच की जाएगी ।

आपको बता दें कि इस गेवरा पेंड्रा रेलवे कॉरिडोर के निर्माण की दूरी 130 किलोमीटर है जिसे इरकॉन इंटरनेशनल लिमिटेड आर एम एन इंफ्रास्ट्रक्चर लिमिटेड सहित अन्य कंपनियों द्वारा निर्माण किया जा रहा है ।

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Amit Mishra - Editor in Chief
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