रायगढ़ – बरौद कालरी (अनिल आहूजा वायरलेस न्यूज़ 1 जनवरी 2021)
छत्तीसगढ़ विधान सभा के शीत कालीन सत्र 2020 के अंतिम दिन 28 दिसंबर 2020 को भूपेश सरकार द्वारा बस्तर में नवनिर्मित नगरनार स्टील प्लांट को राज्य सरकार द्वारा ख़रीदने का निर्णय पारित किया जाना एक ऐतिहासिक व मज़दूर हितैशी कदम है, यह कहना है

कोयलांचल के वरिष्ठ इंटूक नेता गनपत चौहान का । मज़दूर नेता ने कहा कि वर्तमान में जब केन्द्र सरकार सरकारी कम्पनियों का लगातार निजीकरण कर रही है और पूँजीपतियों के हाथ में सरकारी कम्पनियों को सौंप रही है वहीं मज़दूर हितैशी क़ानूनों में संशोधन कर उनको कमज़ोर बना रही है जिससे पूँजीपतियों द्वारा मज़दूरों का शोषण करने में बढ़ावा मिलेगा । चौहान ने कहा कि भूपेश बघेल के द्वारा उठाए गए इस कदम से ये साबित होता है कि भूपेश सरकार एक कल्याणकारी राज्य के पक्षधर हैं । इस सरकार की प्राथमिकता में किसान तो हैं ही साथ ही साथ आदिवासी, पिछड़ा, दलित, महिलाएं व मज़दूर वर्ग भी हैं । आदिवासीयों की संस्कृति तथा आस्था के केंद्रों का संरक्षण व समवर्धन करने में यह सरकार सतत लगी हुई है, भूपेश सरकार के इस कदम से 1355 किसान परिवारों के कम से कम 1355 लोगों को ससम्मान नौकरी करने का अवसर मिलेगा और वो पूँजीपतियों के शोषण से बच जाएँगे । चौहान ने याद दिलाया कि पूर्ववर्ती सरकार द्वारा बस्तर के लगभग 2 हज़ार किसानों की 1764.61 हेक्टेयर ज़मीन जो एक नीजी कम्पनी को प्लांट लगाने के लिए अधिग्रहीत की गयी थी, उक्त आबंटिती कम्पनी द्वारा समयावधि में प्लांट स्थापित नहीं किए जाने के कारण भूपेश सरकार द्वारा सम्बंधित किसानों को ज़मीन वापस की गयी है जिससे किसान अपनी ज़मीन पर पुनः क़ाबिज़ होकर कृषि का काम पूर्व की भाँति कर रहे हैं ।
इंटूक नेता ने कहा कि पी एम मोदी सत्ता में आने से पहले कहा करते थे कि “क़सम है मुझे इस मिट्टी की मैं देश नहीं बिकने दूँगा” वही मोदी सत्ता में आने के बाद निजीकरण के नाम पे 23 सरकारी कम्पनियाँ बेच चुके हैं बी.एस.एन.एल, एम टी एन एल, एल आई सी, भारत पेट्रोलियम कौरपोरेशन को बेचने की तैयारी कर रहे हैं । कई हवाई अड्डे, रेलवे स्टेशन व ट्रेनें बेची जा चुकी हैं । निजीकरण के नाम पर सरकारी कम्पनियाँ बेचने से उसमें कार्यरत मज़दूरों का भविष्य अनिश्चित हो गया है वहीं मज़दूरों के शोषण की संभावनाएँ बढ़ गयी हैं । मज़दूर नेता चौहान ने राज्य सरकार के नगर नार स्टील प्लांट को ख़रीद कर सरकारी कम्पनी बनाने के निर्णय का स्वागत करते हुए भूपेश बघेल का आभार व्यक्त किया।