बिलासपुर (वायरलेस न्यूज़) भैंसाझार के जंगल से सरई लकड़ी की अवैध कटाई : ट्रेलर, क्रेन भी बरामद, वन विकास निगम ने पकड़ तो लिया पर कार्रवाई में हीला-हवाली भैंसाझार के जंगलों से वन विकास निगम के अधिकारियों ने सूचना पाकर चार बड़ी इमारती लकड़ी के गोलों को ट्रेलर क्रमांक सीजी 15 AC 3835 में क्रेन पैडलर के माध्यम से भरते हुए पकड़ा। इमारती लकड़ियों के साथ दोनों गाड़ियों के ड्राइवर भी पकड़े गए, किंतु मौके पर से किसी भी लकड़ी तस्कर के पकड़े जाने की बात वन विकास निगम के अधिकारी नहीं बता रहे हैं।


बिलासपुर जिले के कोटा के पास ग्राम भैंसाझार के जंगलों में आजकल वन माफियाओं का आतंक सा छाया हुआ है। अब इसे वन विकास निगम की लापरवाही कहें या फिर प्रशासन की ढीला रवैया, बेख़ौफ़ होकर इमारती वनों को काटकर खुले गाड़ियों में ले जाया जा रहा है।

उल्लेखनीय है कि बीते गुरुवार की शाम भैंसाझार के जंगलों से वन विकास निगम के अधिकारियों ने सूचना पाकर चार बड़ी इमारती लकड़ी के गोलों को ट्रेलर क्रमांक सीजी 15 AC 3835 में क्रेन पैडलर के माध्यम से भरते हुए पकड़ा। इमारती लकड़ियों के साथ दोनों गाड़ियों के ड्राइवर भी पकड़े गए, किंतु मौके पर से किसी भी लकड़ी तस्कर के पकड़े जाने की बात वन विकास निगम के अधिकारी नहीं बता रहे हैं। जिससे मामला सन्देहास्पद हो गया है, आरा मशीन से बेख़ौफ़ हुई थी कटाई।
भैंसाझार जंगल के बीचो बीच रात के अंधेरे में आरा मशीन से इमारती लकड़ी सरई को डंके की चोट पर काटकर ले जा रहे थे, लगभग पन्द्रह मीटर लम्बा, जिसे पैडलर क्रेन के माध्यम से जंगल के अंदर से खींचकर लाया गया था। कुल टोटल पांच नग लकड़ी का गोला बरामद किया गया है। उक्त लकउ़ी की कीमत लाखो रु में आंकी गई है। पकड़ी गई इमारती लकड़ी के सम्बंध में वन अधिकारियों ने बताया कि कुटेला क्षेत्र के लोगों ने जैतखम्ब बनाने बाबत उक्त वनों की कटाई की है। इसका आवेदन उन्होंने डीएफओ बिलासपुर को भी दिया है। हमें ऐसी जानकारी मिली है। इमारती लकड़ी के चार गोले बरामद हुए हैं, साथ में एक ट्रेलर, तथा क्रेन पैडलर भी मिला है, नियमानुसार कार्यवाही की जाएगी, फिलहाल कार्यवाही करने के मामले की जांच की जा रही है।