पानी में क्लोरिनेशन की अंतिम छोर तक के नलों में की जा रही जांच

रायगढ़। जिला स्तरीय डायरिया नियंत्रण के निर्देश पर निगम की टीम द्वारा क्षेत्र के सभी वार्डों में अंतिम छोर तक घरों में आने वाले पानी में क्लोरिनेशन की जांच की जा रही है। इसके साथ ही बोर एवं हैण्ड पंपो की भी सफाई एवं क्लोरिफिकेशन का कार्य किया जा रहा है।
नगर पालिक निगम रायगढ़ द्वारा जिला स्तरीय डायरिया नियंत्रण पखवाडा और शहरवासियों शुद्ध पीने योग्य पानी मिले इसके लिए महापौर श्रीमती जानकी काटजू, सभापति श्री जयंत ठेठवार व निगम आयुक्त श्री सुनील कुमार चंद्रवंशी ने निगम जल विभाग के अधिकारियों को अंतिम छोर के घरों के नल में आने वाले पानी की गुणवक्ता जाँचने के निर्देश दिए थे। निर्देश के परिपालन में जल विभाग के कर्मचारियों द्वारा अंतिम घरों से पानी सैपंल लेकर लैब में एवं फील्ड टेस्ट कीट के माध्यम से पानी के विभिन्न मापदण्डों की जाँच शुरू कर दिया गया है। इसमें अंतिम छोर के घरों में पानी में किसी प्रकार का बैक्टीरिया ना हो इसके लिए रेसिडुअल क्लोरिन की जाँच की जाती है, ताकि अगर बैक्टीरिया कही से पानी में आ भी जाये तो मौजुदा क्लोरिन उसको वहीं खत्म कर दे। इसकेे अलावा समय-समय पर शहर के बोर एवं हैण्ड पंपो की भी सफाई एवं क्लोरिफिकेशन कार्य चल रहा है। निगम प्रशासन ने जल बचाव को लेकर जन जागरूकता अभियान शुरू किया है। इसमें उपयोग अनुसार पानी लेने के बाद नल जरूर बंद करने, सभी घरों में सामान्य और एक ही फ्लो में पानी आए इसके लिए सीधे नल कनेक्शन से टुल्लु पंप नहीं जोड़ने, छत की पानी टंकी भरने हेतु अंडरग्राऊड संप बनाने, जिसमें नल का पानी एकत्रित हो सके और फिर संप में पंप लगाकर अपने घर के छतों मे स्थित पानी टंकी को भरा जा सके ऐसी सुविधा अपनाने, अंडरग्राऊण्ड संप की क्षमता इतनी बनाकर रखे की अपातकाल स्थिति में भी घर में पानी की उपलब्धता रहे। समय-समय पर पानी टंकियों की सफाई कराने एवं क्लोरिन टैबलेट डालने की अपील निगम प्रशासन ने शहरवासियों से की है।

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Amit Mishra - Editor in Chief
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