जशपुरनगर,(वायरलेस न्यूज़)
जिले के शा. हाई स्कूल एवं हायर सेकेण्डरी विद्यालयों में शैक्षणिक गुणवत्ता उन्नयन हेतु जिला कलेक्टर के मार्गदर्शन से चलाये जा रहे यशस्वी जशपुर कार्यक्रम के तहत् बोर्ड परीक्षा के मद्देनजर वि.खं.शि. अधिकारियों एवं प्राचार्यों की समीक्षा बैठक सम्पन्न हुई ।
बैठक में जशपुर जिले के आठो विकासखण्ड के शा. हाईस्कुल/हायर सेकेण्डरी विद्यालयों के तिमाही/छःमाही परीक्षा के परिणामों की समीक्षा की गई । बैठक में विद्यालयों में बच्चों की उपस्थिति, मिशन 40 डेज के तहत किये जा रहे कार्य, 100 प्रतिशत परिणाम हेतु विद्यालय की रणनीति, प्रावीण्य सूची में बच्चों को लाने की रणनीति आदि पर विस्तृत चर्चा की गई । बैठक में यशस्वी जशपुर के नोडल अधिकारी विनोद कुमार गुप्ता ने कहा कि सभी विद्यालयों को मिशन 40 डेज का पालन करते हुए निर्धारित गतिविधियों का संपादन करना चाहिए । उन्होंने कहा कि सर्वप्रथम अच्छे बच्चे एवं कम अच्छे बच्चों का चिन्हांकन करें । कक्षा 10 वीं एवं 12 वीं में अध्यापन कार्य करने वाले शिक्षकों को प्रत्येक विषय में पूर्णांक के तीन गुणा अंकों का प्रश्न व उत्तर के साथ तैयार करना चाहिए और इसी के आधार पर प्रतिदिन विद्यार्थियों का प्रत्येक विषय का एक-एक घंटे का विषयवार टेस्ट लें । मूल्यांकन उपरांत बच्चों से ही उत्तरपुस्तिका बच्चों के बीच अदला-बदली कर मूल्यांकन कराएं और विषय शिक्षकों को भी उत्तरपुस्तिका का अवलोकन कर बच्चों की कमी का समाधान करें । श्री गुप्ता ने कहा कि विद्यालयों में प्रतिदिन 90-90 मिनट के तीन विषयों के कालखण्ड लगायें और अगले दिन शेष विषयों का । उन्होंने कहा कि विद्यार्थियों के सफलता के तीन सूत्र है । विद्यार्थियों को अपनी क्षमता का पूर्ण उपयोग करना चाहिए, पुरा मन लगाकर अपने कार्य को करना चाहिए और कार्य को सर्वश्रेष्ठ तरीके से करना चाहिए । श्री गुप्ता ने कहा कि बोर्ड परीक्षा की प्रावीण्य सूची में बच्चा तब अपना स्थान बनाने में कामयाब होता है जब शिक्षक उसके लिए कर्तव्यनिष्ठ होकर अपने कर्तव्य का निर्वहन करता है । विद्यालय के प्राचार्य को अपने विद्यालय के बेहतर परिणाम हेतु शिक्षकों के साथ ही विद्यार्थियों को भी मोटिवेट करना आवश्यक होता है । उन्होंने कहा कि जिले के बच्चों में लिखने की क्षमता में कमी है इस कारण शिक्षकों को विद्यार्थियों को पाठ्यक्रम के विषयवस्तु का प्रतिदिन बार-बार लिखने का अभ्यास कराएं ।
मिशन 40 डेज की कार्ययोजना का क्रियान्वयन सही तरीके से कराये जाने से प्रत्येक विद्यार्थी को परीक्षा पूर्व तक प्रत्येक विषय का कम से कम 20 घंटे का लिखित पुनरावृति अभ्यास हो जायेगा । ऐसा पुनरावृति करके ही शत-प्रतिशत परीक्षा परिणाम किया जा सकता है साथ ही शिक्षकों के द्वारा मेरिट में आने वाले संभावित विद्यार्थियों की उत्तर पुस्तिका का बारीकी से मूल्यांकन कर उनके द्वारा की जाने वाली गलतियों को न्युनतम किया जा सकता है ।
सभी बीईओ/एबीईओ के द्वारा प्रत्येक दिवस स्कूलों की मानिटरिंग करने हेतु गुगल शीट जारी की गई है, जिसके द्वारा प्रत्येक दिवस जिले स्तर पर इसकी समीक्षा की जा रही है ।
बैठक में जिले के सभी विकासखण्ड के विकासखण्ड शिक्षा अधिकारी, सहा. विकासखण्ड शिक्षा अधिकारी, समस्त शा. विद्यालयों के प्राचार्य, यशस्वी जशपुर के संजीव शर्मा, अवनीश पाण्डेय, संजय दास उपस्थित थे ।