तमनार के प्रभा कम्प्युटर में आरपीएफ ने मारा छापा हज़ारो के 13 ई टिकट के साथ एक् गिरफ्तार।

रायगढ़ ।( वायरलेस न्यूज़) रेल सुरक्षा बल पोस्ट रायगढ़ की विशेष टीम ने रेलवे ई टिकट बनाने की सूचना पर तमनार के धोराभाठा के एक कंप्यूटर दुकान मे छापा मारकर एक युवक को अवैध रूप से ई टिकट बनाते गिरफ्तार करने मे अहम कामयाबी हासिल की है। उसके विरुद्ध 143 रेल अधिनियम का मामला दर्ज कर लिया रेल सुरक्षा बल से मिली जानकारी के अनुसार
शुक्रवार दिनांक 14 फरवरी 2025 को प्रभारी रायगढ़ के नेतृत्व में उप निरीक्षक संजय कुमार एस हमराह बल सदस्यों के साथ मुख्बीर सूचना के अधार पर स्थानीय पुलिस थाना-तमनार के सहयोग से रायगढ-तमनार मुख्य मार्ग घौराभाठा मेन चौक के पास स्थित प्रभा कम्प्युटर दुकान में समय लगभग 13ः05 बजे दबीश देकर दुकान के संचालक से पूछने पर नाम व पता-राजकुमार पटनायक पिता-देवानन्द पटनायक उम्र-27 वर्ष, निवासी-मकान नंबर-27 वार्ड क्रमांक-03 तीलाईपारा थाना-तमनार जिला-रायगढ (छ.ग.) बताया। रेलवे ई टिकट की जॉच हेतु सहयोग करने हेतु नोटिस देकर इलेक्ट्रानिक समान (Assemble) कम्प्युटर को चेक करने पर व्यक्तिगत यूजर आई.डी. rkpatnaik3 से 13 नग (पूर्व) का रेलवे ई टिकट बनाना पाया गया। जिसकी कुल कीमत लगभग 10092.50/- रूपये है। उक्त 13 नग रेलवे ई टिकट बनाने के संबंध में वैध अनुज्ञप्ति हेतु नोटिस देने पर उनके द्वारा वैध पत्र नही होना बताया। आगे पूछताछ में बताया कि, वह लगभग 01 वर्ष से रेलवे ई-टिकट का व्यपार कर रहा है और जरूरतमंद ग्राहकों के मांग पर टिकट बनाना और प्रत्येक टिकट में 20/- अतिरिक्त चार्ज कमीशन के रूप में लेना बताया। उक्त टिकट को बनाने हेतु मेल आई.डी rkpatnaik30@gmail.com एवं लेन-देन हेतु भारतीय स्टेट बैंक-तमनार खाता क्रमांक-34870034912, ओ.टी.पी. हेतु जीयो सिम क्रमांक-8889922611 का उपयोग कर स्वंय के कम्प्युटर का उपयोग कर टिकट बनाना बताया। साथ ही संचालक के पास CSC ID-WCSCEGL115267 भी होना बताया।
मामला रेलवे अधिनियम कि धारा 143 का होना पाकर उक्त व्यक्ति का स्वीकारोक्ति बयान दर्ज कर जप्ती की कार्यवाही एवं वैधानिक दस्तावेज तैयार कर आरोपी को मय जब्त संपत्ति व दस्तावेज के साथ पोस्ट लाया गया। दुकान संचालक-राजकुमार नायक के विरूद्ध अपराध क्रमांक 550/2025 ,14 फरवरी 2025, धारा-143 रेलवे अधिनियम-1989 आरोपी को उसके अपराध से अवगत कराया गया, गिरफ्तारी की सूचना उसके परिजनों को दी गई।

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Amit Mishra - Editor in Chief
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